[ मूली के फायदे ]
मूली को अंग्रेजी में रैडिश कहते है। ठंड़ शुरू होते ही बाजार में ज्यादा तर सफेद और लाल मूली आने लगती है। मूली को मिलकर कई तरह की सब्जियां बनाई जाती हैं। लम्बी और पतली सी दिखने वाली मूली को लोग बहुत पसंद से खाते हैं क्योंकि लोगों को यह पता है कि मूली के अनेक फायदे हैं। इसमें बहुत से विटामिन और खनिजों का भंडार है जो कई प्रकार की बीमारियों को दूर करने में मदद करते है। मूली में पोटेशियम, फोलेट, राइबोफ्लेविन, नियासिन, विटामिन-सी, के, कैल्शियम, मैग्रीशियम, जिंक, फोस्फोरस, काॅपर, मैंगनीज, सोडियम आदी जैसे पोषक तत्वों होते है। यह आतों की सफाई, पित्त की समस्या, भूख की कमी, बुखार, गले की सूजन आदी को सवस्थ करती है। मूली के पत्ते और मूली के बीज सभी शरीर के लिए फायदेमंद होते हैं। आईए आज हम मूली के फायदे और नुक्सान के बारे में जाने।
डायबिटीज के लिए :-
डायबिटीज के मरीजों को मूली बहुत फायदेमंद होती है। मूली में फाइबर भरपूर मात्रा में पाया जाता है। डायबिटीज के मरीज मूली की नहीं बल्कि मूली के पत्तों का साग बनाकर सेवन कर सकते है। इसमें मौजूद तत्व इंसुलिन को नियंत्रित करने का काम करता है। इसकी पत्तियों में सामान पोषक तत्व मौजूद होता है, जिसके इस्तेमाल से डायबिटीज के जोखिम को कम किया जा सकता है। अगर आपका ब्लड शुगर लेवल हाई रहता है, तो डाॅक्टर की सलाह पर इसका सेवन किया जा सकता है। यह खून की मात्रा मे शर्करा के अवशोषण को नियं़ित्रत करने में भी मददगार है। इससे शरीर में ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल में रहता है।
कब्ज के लिए :-
हम में से ज्यादातर लोग अच्छी तरह जानते है कि मूली पेट संबंधी समस्यओं के लिए फायदेमंद होती है। मूली में काफी मात्रा में डाइटरी फाइबर पाया जाता है। इसलिए कब्ज जैसी समस्या को दूर करने के लिए इसका सेवन किया जा सकता हैं। यह कब्ज की समस्या से राहत दिलाती है और पाचनतंत्र में सुधार करती है। मूली गैस, कब्ज, बवासीर के साथ-साथ पाचन संबंधी समस्याओं को भी दूर करती है। कब्ज से परेशान लोग मूली का सेवन कर सकते है। मूली को खाली पेट नहीं खाना चाहिए, दिन में मूली का सेवन करना फायदे मंद होता है। रात के समय इसे खाने से बचना चाहिए। कब्ज के लिए मूली का रस भी फायदेमंद होता है।
त्वचा के लिए :-
मूली में काफी मात्रा में पानी होता है जो त्वचा में नमी बनाये रखता है। इसमें पाया जाने वाला विटामिन-सी, फास्फोरस, जिंक और विटामिन-बी काॅम्प्लेक्स त्वचा के लिए काफी फायदेमंद होता है। इससे मुँहासे, एक्जिमा और चकत्ते जैसे त्वचा के रोगों का इलाज किया जा सकता है। मूली के बीज को दही में मिलारि पेस्ट बनाकर चेहरे पर लगाने से मुँहासे की समस्या और चेहरे के काले धब्बे को कम किया जा सकता है। कच्ची मूली को कददूकस कर आप अपने चेहरे को अच्छी तरह से साफ कर सकते है, यह एक फेस पैक के रूप में कार्य करती है।
वजन कम करने के लिए :-
मूली में भरपूर मात्रा में फाइबर होता है जो वजन को कम करने में मदद करता है। वजन कम करने वालो के लिए मूली एक अच्छा आहार माना जाता है, इसमें पचने योग्य कार्बोहाइड्रेटा कम होते है और पानी अधिक होता है। शरीर से सभी विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने के लिए मूली का रस बेहतरीन क्लींजर के रूप में कार्य करता है। मूली का रस पित्ताशय की थैली और लीवर को साफ करने के लिए भी बेहतर साबित हो सकता है। अक्सर डाइट में मूली के सलाद का सेवन लोग अधिक करना पसंद करते है। मूली पाचन क्रिया को मजबूत बनाती है, अगर आप वजन कम करना चाहते है, तो मूली का सेवन जरूर करें।
पीलिया रोग में :-
मूली पीलिया के इलाज में यह बेहद उपयोगी होती है। इसमें कुछ ऐसे यौगिक होते है जो पीलिया के जोखिम को कम करता है। रोजाना सुबह एक कच्ची मूली खाने से कुछ ही दिन में पीलिया रोग ठीक हो जाता है। पीलिया होने पर मरीज को मूली की पत्तियों का साग खिलाना चाहिए। मूली लाल रक्त कोशिकाओं को नष्ट होने से रोकती है। पीलिया फ्लू के कारण होता है और शरीर में संक्रमण फैलाता है, और मूली में मौजूद विटामिन-सी संक्रमण को रोकता है। इसके अलावा शरीर की रोगप्रतीरोधक क्षमता को बढ़ाता है।
बवासीर के लिए :-
बवासीर के रोगियों को मूली खाने की सलाह दी जाती है। मूली में रापिनिन, ग्लूूकोसाइलिनेटस और पिटामिन-सी जैसे मेटाबोलाइटस होते है, जो बवासीर की वजह से होने वाली सूजन और दर्द को कम करने में मदद करते हैं। मूली पाचन, वाॅटर रिटेन्शन में मदद करती है और कब्ज को ठीक करती है, जो बवासीर के प्रमुख कारणों में से एक हैं। मूली में घुलनशील फाइबर्स होते है, जो यूरिन को मुलायाम और पाचन क्रिया को दुरूस्त रखती है। मूली में ऐसे तत्व होते हैं, जो पाइल्स के दर्द और सूजन को दूर करने मे सहायक होते है। मूली में वाष्पशील तेल पाया जाता है, जो बवासीर में खुजली और दर्द में आराम दिलाने का काम करता है।
आर्टिकल में सुझाए गए टिप्स और सलाह केवल आप जानकारी के लिए दिए गए हैं, और इसे आजमाने से पहले किसी पेशवर डाक्टर या वैघ की सलाह जरूर लें धन्यवाद।